भोपाल। मध्य प्रदेश की राजधानी भोपाल का झांसी के साथ तो पहले से ही था अब जबलपुर के साथ भी हाई स्पीड 12 कनेक्शन बन गया है। यानी झांसी से लेकर जबलपुर तक कोई भी ट्रेन पूरी क्षमता के साथ दौड़ लगा सकती है। महादेवखेड़ी-मालखेड़ी स्टेशनों के बीच इंजन का 110 किलोमीटर की स्पीड पर ट्रायल सफल रहा है।
पश्चिम मध्य रेल, भोपाल एवं जबलपुर मण्डल के महादेवखेड़ी-मालखेड़ी स्टेशन के मध्य दोहरीकरण कार्य योजना के अंतर्गत 5.181 किलोमीटर नई रेल लाइन पर 18 नवंबर को ट्रेन की स्पीड का लाइव टेस्ट किया गया। इस खण्ड पर विद्युत इंजन से 110 किलोमीटर प्रति घंटे की गति से स्पीड ट्रायल किया गया। इससे अब झांसी, भोपाल और जबलपुर मंडल आपस में जुड़ गए हैं। रेल संरक्षा आयुक्त, मध्य वृत्त, मुंबई के मनोज अरोरा ने पूरा परीक्षण देखा।
इस दौरान के दौरान रेल संरक्षा आयुक्त ने इस रेल खंड पर संरक्षा एवं सुरक्षा से जुड़े संसाधनों, ओएचई लाइन, सम्बद्ध उपकरण, तथा सिग्नलिंग आदि का निरीक्षण किया एवं उनकी कार्य क्षमता को परखा। कार्य की गुणवत्ता और स्पीड ट्रायल से संतुष्ट होकर इस खण्ड पर 90 किमी प्रति घंटे की गति से गाड़ी चलाने की अनुमति दी है।
इस अवसर पर मुख्यालय से मुख्य प्रशासनिक अधिकारी (निर्माण) अरविंद कुमार सिंह, मुख्य इंजिनियर (कार्य) केएल मीना, मुख्य संकेत इंजिनियर राजेश कुमार, सीईडीई (CEDE) सुरेश कुमार, मंडल रेल प्रबंधक जबलपुर विवेक शील, भोपाल मंडल से अपर मण्डल रेल प्रबंधक रश्मि दिवाकर, वरिष्ठ मंडल इंजीनियर ( उत्तर) गौरव मिश्रा, वरिष्ठ मण्डल इंजीनियर (टीआरडी) दिलीप कुमार मीना, वरिष्ठ मण्डल परिचालन प्रबन्धक (सामान्य) धनराज सिंह, रेल विकास निगम लिमिटेड से कार्यकारी निदेशक बीएन सिंह, मुख्य परियोजना प्रबन्धक धर्मेंद्र कुमार पांडे, महाप्रबंधक सौरभ मिश्रा, महाप्रबंधक (संकेत) आनन्द गोल्हानी उपस्थित थे।
इसलिए महत्वपूर्ण
महादेवखेड़ी-मालखेड़ी एक बहुत ही महत्त्वपूर्ण लिंक है, जिसके तहत जबलपुर व कटनी की तरफ सारे कोयले की रेक की आपूर्ति बीना, कोटा व अन्य सभी पॉवर हाउसों में की जाती है। इस खंड की लाईन कैपेसिटी कम होने के कारण असुविधा होती थी। इस खंड के दोहरीकरण कार्य योजना के अंतर्गत इस नई लाइन के शुरू हो जाने से इन सब समस्याओं से निजात मिल सकेगी एवं रेल परिचालन में भी अत्यधित सुगमता आएगी।