इंश्योरेंस पॉलिसी होल्डर जब पूरे वित्तीय वर्ष के दौरान एक भी बार किसी भी प्रकार का बीमा क्लेम नहीं करता है तब बीमा कंपनी की ओर से उसे प्रोत्साहित करने के लिए NCB (नो क्लेम बोनस) देती है।
इंश्योरेंस पॉलिसी में नो क्लेम बोनस की राशि कहां जमा होती है
बीमा कंपनी द्वारा इंश्योरेंस पॉलिसी होल्डर को जितनी भी राशि नो क्लेम बोनस के तौर पर घोषित की जाती है वह ना तो बैंक अकाउंट में आकर डिपॉजिट होती है और ना ही इंश्योरेंस पॉलिसी के प्रीमियम में समायोजित हो जाती है बल्कि इंश्योरेंस कवरेज की राशि मिलाकर जुड़ जाती है।
इंश्योरेंस पॉलिसी में नो क्लेम बोनस की राशि का कैलकुलेशन
उदाहरण के तौर पर आपने ₹500000 का मेडिकल इंश्योरेंस करवाया और साल भर में कोई क्लेम नहीं किया। कंपनी की तरफ से आपको ₹250000 बोनस दिया गया तो आगामी वित्तीय वर्ष में आपका इंश्योरेंस कवरेज ₹500000 के स्थान पर ₹750000 हो जाएगा।