यह तो सभी जानते हैं कि यदि कोई आम नागरिक किसी शासकीय कर्मचारी के साथ अभद्र व्यवहार करें अथवा मारपीट करे तो उसके खिलाफ आईपीसी की अन्य धाराओं के अलावा शासकीय कार्य में बाधा का मामला भी दर्ज हो जाता है परंतु यदि किसी शासकीय कार्यालय के भीतर कोई कर्मचारी किसी आम नागरिक के साथ मारपीट करें तब उसके खिलाफ कौन सी धारा लगेगी। आइए जानते हैं:-
भारतीय दंड संहिता की धारा 166
आईपीसी की धारा 166 के तहत यदि कोई शासकीय कर्मचारी किसी आम नागरिक को चोट पहुंचाने के इरादे से मर्यादा का उल्लंघन करता है तब उसके खिलाफ आपराधिक प्रकरण दर्ज किया जाता है। इसे लोक सेवक अयोग्य कानून भी कहते हैं। इसमें कर्मचारी को 1 वर्ष तक जेल का दंड प्रावधान है। आईपीसी की धारा 166 को दो भागों में बांटा गया है। धारा 166-ए में विधि सम्मत आदेश का उल्लंघन करने वाले के खिलाफ मामला दर्ज किया जाता है जबकि आईपीसी की धारा 166-बी के तहत ऐसे कर्मचारी को दंडित का प्रावधान है जो पीड़ित व्यक्ति के उपचार में बाधा पहुंचाता है।
आईपीसी की धारा 166- गिरफ्तारी और जमानत के प्रावधान
दंड प्रक्रिया संहिता 1974 की धारा 357-ग के अनुसार यह एक संज्ञेय यानी गंभीर अपराध है और किसी भी प्रकार के समझौता/ राजीनामा के योग्य नहीं है लेकिन जमानती अपराध है। यानी आईपीसी की धारा 166 के सरकारी कर्मचारी की गिरफ्तारी नहीं होगी। उसे पुलिस थाने से जमानत मिल जाएगी।
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