मध्य प्रदेश की राजधानी भोपाल के अयोध्या नगर में एमकेडी प्रॉपर्टी डेवलपर्स के ऑफिस पर बम ब्लास्ट करने के बाद बिल्डर रामदास साहू से ₹5000000 फिरौती मांगी गई। जब पुलिस ने फिरौती मांगने वाले व्यक्ति को पकड़ा तो पता चला कि वह कोई आदतन अपराधी नहीं है बल्कि बिल्डर ने उसके साथ थैली की थी। उसी का बदला लेने के लिए एक अनुशासित नागरिक अपराधी बन बैठा।
MKD PROPERTY DEVELOPER, BHOPAL में पेट्रोल बम फेंका
अयोध्या नगर प्रभारी नीलेश अवस्थी ने बताया कि सागर स्टेट अयोध्या नगर निवासी 36 वर्षीय रामदास साहू एमकेडी प्रॉपर्टी डेवलपर फर्म के मालिक हैं। उन्होंने पुलिस को बताया कि अमृत इंक्लेव मे उनका आफिस है। पांच मई की शाम करीब साढ़े सात बजे के करीब उनके मोबाइल पर एक अज्ञात नंबर से फोन आया और फोन करने वाले ने उनको धमकाया और आदिल नाम बताकर करीब पचास लाख रुपये मांगे, पहले तो उनको लगा कि कोई दोस्त मजाक कर रहा है,लेकिन थोड़ी ही देर बाद उनके आफिस में पेट्रोल बम भी फेंका दिया, इसमें उनके आफिस में रखी एक स्कूटी जलकर खाक हो गई तो वह डर गए।
बाद में उसी बदमाश का दोबारा फोन आया और बोला कि ट्रेलर कैसा लगा और अब पचास लाख रुपये का इंतजाम करके रखो, वरना अंजाम भुगताने तैयार रहो। उसने कहा समय और स्थान थोड़ी देर में बताता हूं। इतना सुनते ही रामदास साहू डर गए और सीधे अयोध्या नगर थाने पहुंचे और पूरा घटनाक्रम बताया। पुलिस थाने से तत्काल इस घटना की जानकारी पुलिस कमिश्नर को दी गई। एडिशनल कमिश्नर ऑफ पुलिस श्री राजेश सिंह भदोरिया ने ऑपरेशन लीड किया।
फिरौती मांगने वाले बदमाश ने बिल्डर श्री रामदास साहू को बैग में पचास लाख रुपये लेकर अकेले रत्नागिरी चौराहे पर शनिवार रात को करीब नौ बजे बुलाया। इस पर एडिशनल कमिश्नर ने जाल बिछाया और सादा वर्दी में पुलिस की चार टीमों को रत्नागिरी के आसपास तैनात की और बैग में नोटों के स्थान पर कागज की गड्डी रखकर बिल्डर को निर्धारित स्थान पर भेजा। बदमाश ने फिर से बिल्डर को फोन किया और फिल्मी स्टाइल में कहा कि फोन डिस्कनेक्ट नहीं होना चाहिए। उसे फोन पर गायक करता चला गया और सड़क पर वेज रखकर आगे बढ़ जाने के लिए कहा। बिल्डर ने वैसा ही किया। बदमाश को पता नहीं था कि यह फिल्म नहीं है, रियल लाइफ है। जैसे ही वह बैग उठाने के लिए आया, मौके पर मौजूद पुलिस टीम ने उसे पकड़ लिया।
ठगी का बदला लेने के लिए साजिश रची थी
पुलिस की गिरफ्तारी के बाद बदमाश ने अपना नाम थान सिंह बताया। उसने बताया कि वह सेना में जवान है और वर्तमान में लुधियाना इन्फेंट्री में तैनात है। पूछताछ में उसने बताया कि बिल्डर रामदास साहू ने उसके साथ सही है। एक सस्ता प्लॉट बहुत महंगे दामों में दिया। इसलिए उसे सबक सिखाने और अपना पैसा वापस प्राप्त करने के लिए यह साजिश रची थी।
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