मध्य प्रदेश के सरकारी स्कूलों में संस्कृत विषय का विरोध देखा जा रहा है। पता चला है कि हायर सेकेंडरी स्कूल के प्राचार्य कक्षा 11 में बच्चों को संस्कृत विषय में एडमिशन नहीं दे रहे हैं। हालात यह बन गए हैं कि स्कूल शिक्षा मंत्री को मामले का मीडिया के सामने खुलासा करवाना पड़ा।
स्कूल शिक्षा मंत्री के ऑफिस से जारी पत्र पढ़िए
श्री इंदर सिंह परमार, राज्यमंत्री स्कूल शिक्षा एवं सामान्य प्रशासन विभाग के ओएसडी डॉ भरत व्यास ने आयुक्त लोक शिक्षण संचालनालय श्रीमती अनुभा श्रीवास्तव को पत्र (क्रमांक 3247 दिनांक 25 जुलाई 2023) लिखा है। इसमें उन्होंने बताया है कि, माननीय मंत्री जी की जानकारी में यह बात आई है कि मध्य प्रदेश के विभिन्न शासकीय उच्चतर माध्यमिक विद्यालयों के प्राचार्य द्वारा कक्षा 11 में विद्यार्थियों को संस्कृत विषय का चयन नहीं करने दिया जा रहा है। अतः निर्देशानुसार अनुरोध है कि प्रदेश के प्राचार्य को निर्देशित करने का कष्ट करें।
पत्र के पीछे की पॉलिटिक्स पढ़िए
इस तरह के मामले मंत्री के ऑफिस से एक सामान्य फोन कॉल पर सॉल्व हो जाते हैं परंतु मध्य प्रदेश के सरकारी स्कूलों में संस्कृत विषय के विरोध का मामला इतना अधिक गंभीर हो गया है कि, ना केवल ऑफिशल लेटर जारी किया गया बल्कि यह लेटर अपने विश्वसनीय पत्रकारों को भी उपलब्ध कराया गया। ताकि मामला जनता की अदालत तक पहुंच सके। स्वाभाविक है कि इससे पहले स्कूल शिक्षा राज्य मंत्री और सीपीआई के बीच बातचीत हो गई होगी। इस पत्र से यह भी पता चलता है कि स्कूल शिक्षा राज्य मंत्री इंदर सिंह परमार और सीपीआई श्रीमती अनुभा श्रीवास्तव के बीच तनाव की स्थिति बन गई है।
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