मध्य प्रदेश में पटवारी की हड़ताल चल रही है और दूसरी तरफ मध्य प्रदेश के कई इलाकों में मूसलाधार बारिश के कारण खेतों में पानी भर गया और फसलों का भारी नुकसान हुआ है। सरकार ने स्कूलों में पढ़ने वाले शिक्षकों की ड्यूटी पटवारी की जगह लगा दी है। धार जिले में शिक्षकों की कोई वर्षों पुरानी लिस्ट उठाकर, सबको ड्यूटी पर लगा दिया गया। इनमें वह शिक्षक भी शामिल है जिनकी 3 साल पहले मृत्यु हो गई है।
धार जिले के शिक्षक, पार्ट टाइम पटवारी
खबर धार जिले से आई है। यहां कलेक्टर के आदेश का पालन करते हुए नायब तहसीलदार ने शिक्षकों की ड्यूटी अति वर्षा के सर्वे में लगा दी है। शिक्षकों को यह पता करना है कि, अत्यधिक बारिश हो जाने के कारण खेतों को कुल कितने प्रतिशत का नुकसान हुआ है। इससे पहले शिक्षकों को यह जानना होगा कि, खेत के कितने क्षेत्रफल में वीजा रोपण किया गया था और यदि अति वर्षा नहीं होती तो कितनी फसल होती।
कलेक्टर कार्यालय के रिकॉर्ड वर्षों से अपडेट नहीं
कलेक्टर कार्यालय के रिकॉर्ड वर्षों से अपडेट नहीं हुए हैं। प्राथमिक शिक्षक तेरसिंह मोरी की 3 साल पहले मृत्यु हो चुकी है। उनका बेटा सूरज मोरी मृत्यु के बाद से ही अनुकंपा नियुक्ति के लिए चक्कर लगा रहा है, लेकिन कलेक्टर के आदेश पर नायब तहसीलदार ने न केवल 3 साल पहले मृत प्राथमिक शिक्षक तेरसिंह मोरी की फसलों का सर्वे करने के लिए ड्यूटी लगा दी बल्कि धमकी दी है कि यदि आदेश का पालन नहीं किया तो वेतन नहीं देंगे और अनुशासनात्मक कार्रवाई करेंगे।
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