कमलनाथ ने प्रदेश अध्यक्ष पद से इस्तीफा दिया, पढ़िए समाचार सही गलत या कुछ और.. - MP NEWS

Bhopal Samachar

Kamal Nath resigned from the post of state president ?

मध्य प्रदेश में कांग्रेस पार्टी की शर्मनाक शिकायत के बाद कांग्रेस पार्टी के प्रदेश अध्यक्ष श्री कमलनाथ ने अपने पद से इस्तीफा दे दिया है, इस समाचार की आधिकारिक पुष्टि नहीं हुई है। कांग्रेस सूत्रों ने बताया कि उन्होंने अपना इस्तीफा राष्ट्रीय अध्यक्ष श्री मल्लिकार्जुन खड़गे को सौंप दिया है। यह खबर दिल्ली के पत्रकारों द्वारा अपने पर्सनल ट्विटर हैंडल से दी गई परंतु मध्य प्रदेश कांग्रेस कमेटी की ओर से कहा गया है कि यह खबर निराधार है। इससे पहले खबर आई थी कि कांग्रेस हाई कमान ने उनकी सभी दलीलों को अस्वीकार करते हुए, मध्य प्रदेश विधानसभा चुनाव की हार की जिम्मेदारी लेने के लिए कहा था।

यह भी हो सकता है

यह भी हो सकता है कि, दिल्ली में कमलनाथ ने किसी से कहा हो कि उन्होंने अध्यक्ष महोदय को अपना इस्तीफा दे दिया है और उसके बाद खबर वायरल हो गई। या फिर यह भी हो सकता है कि उन्होंने अध्यक्ष महोदय को सचमुच अपना इस्तीफा दे दिया है लेकिन अभी तक मंजूर नहीं हुआ इसलिए इसकी आधिकारिक पुष्टि नहीं हो रही है। जब तक इस मामले में कमलनाथ अथवा मल्लिकार्जुन खड़गे स्वयं बयान नहीं देते, तब तक इस खबर को सत्य और असत्य नहीं माना जा सकता, क्योंकि दिल्ली के एक से अधिक पत्रकारों ने इस खबर को समान समय पर वायरल किया है।

कमलनाथ इस्तीफा देना नहीं चाहते 

मध्य प्रदेश विधानसभा चुनाव के परिणाम आने के तत्काल बाद कांग्रेस कमान ने कमलनाथ को दिल्ली तलब कर लिया था। राष्ट्रीय अध्यक्ष श्री मल्लिकार्जुन खड़गे, श्री राहुल गांधी और श्री केसी वेणुगोपाल ने उनसे सवाल जवाब किए थे। कमलनाथ, अपना पद नहीं छोड़ना चाहते थे। दिल्ली जाने से पहले भोपाल में उन्होंने अपने बयान में अप्रत्यक्ष रूप से कह दिया था कि प्रदेश अध्यक्ष भी वही रहेंगे और पिछली बार की तरह इस बार भी नेता प्रतिपक्ष का पद अपने पास रखेंगे, लेकिन दिल्ली में हाई कमान के सवालों का उनके पास कोई जवाब नहीं था। इसके बाद खबर वायरल हो गई थी कि कमलनाथ को इस्तीफा देना पड़ेगा।

मध्य प्रदेश चुनाव में कमलनाथ ने किसी की नहीं सुनी थी 

कांग्रेस पार्टी का हाई कमान कमलनाथ से इसलिए भी नाराज है क्योंकि मध्य प्रदेश विधानसभा चुनाव के दौरान उन्होंने कांग्रेस पार्टी के किसी वरिष्ठ नेता की एक बात नहीं सुनी थी। यहां तक की राहुल गांधी ने जब INDIA गठबंधन का पहला कार्यक्रम भोपाल में अनाउंस किया तो कमलनाथ ने डायरेक्ट मीडिया के सामने आकर राहुल गांधी के कार्यक्रम को कैंसिल कर दिया था। इसके अलावा कई मामलों में कमलनाथ ने पार्टी पॉलिसी के बाहर जाकर न केवल बयान दिए बल्कि काम भी किया। इसके विरुद्ध कांग्रेस पार्टी ने कमलनाथ का पूरा साथ दिया। प्रियंका गांधी एवं राहुल गांधी ने मध्य प्रदेश में उनकी मांग के अनुसार सभाएं की।

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