मध्य प्रदेश के मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने सोशल मीडिया पर देवास जिले के सोनकच्छ तहसीलदार के वायरल हो रहे वीडियो को संज्ञान में लिया है। मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने कहा कि, अधिकारी आम लोगों के साथ सभ्य और शालीन भाषा का इस्तेमाल करें। इस तरह की अभद्र भाषा बिल्कुल भी बर्दाश्त नहीं की जाएगी। मेरे निर्देश के बाद कलेक्टर द्वारा तहसीलदार को जिला मुख्यालय अटैच कर दिया गया है।
मामला क्या है
मध्य प्रदेश शासन की तहसीलदार सुश्री अंजली गुप्ता का एक वीडियो वायरल हुआ है। इसमें वह ग्रामीणों पर भड़कते हुए दिखाई दे रही हैं। कह रही हैं, चूजे हैं यह, अंडे से निकल नहीं, बड़ी-बड़ी मरने मारने की बात करते हैं। कैसे इसने बोल दिया कि मैं रिस्पांसिबल हूं। मैं तहसीलदार हूं। यह किसका प्रोजेक्ट है, शासन का प्रोजेक्ट है। किसने चुना शासन को सरकार को, आप लोगों ने चुना। मैंने चुना क्या। मैंने कहा क्या MPPTCL को, मैं कैसे रिस्पांसिबल हूं। इसके बाद अचानक उनकी नजर वीडियो रिकॉर्ड करने वाले पर पड़ गई और उन्होंने रिकॉर्डिंग बंद करवा दी।
भोपाल समाचार की खबर का असर
उल्लेखनीय के वीडियो वायरल होने के बाद तहसीलदार अंजली गुप्ता ने तमाम पत्रकारों को प्रतिक्रिया दी थी। यह साबित करने का प्रयास किया था कि, किसान एवं उसका परिवार दोषी है। यह भी कहा था कि वह एक महिला अधिकारी हैं और उनकी मर्जी के बिना उनका वीडियो वायरल नहीं होना चाहिए। केवल भोपाल समाचार ने इस मामले में तथ्यपरक समाचार प्रकाशित करते हुए कुछ सवाल उठाए थे। (यहां क्लिक करके पढ़ सकते हैं) इसके बाद मुख्यमंत्री डॉक्टर यादव ने दिल्ली में होने के बावजूद महिला तहसीलदार को फील्ड पोस्टिंग से हटाने का निर्देश दिया।
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