राजीव गांधी प्रौद्योगिकी विश्वविद्यालय भोपाल, मध्य प्रदेश में चल रही BANK FD घोटाले की जांच में खुलासा हुआ है कि यूनिवर्सिटी ऑफ़ टेक्नोलॉजी भोपाल के अकाउंट से दलित संघ सोहागपुर के अकाउंट में 9.50 करोड रुपए ट्रांसफर किए गए। डॉक्यूमेंट में इस यूनिवर्सिटी का अकाउंट बताया गया है।
घोटालेबाज अधिकारियों ने ऑडिट वालों की लापरवाही का फायदा उठाया
स्टेट टेक्नोलॉजी यूनिवर्सिटी ऑफ़ मध्य प्रदेश में पूरा घोटाला बड़े ही शातिर तरीके से किया गया है। कुछ इस तरीके से की ऑडिट में कभी पकड़ा नहीं जा सकता। ऑडिट के लोग बैंक खाता नंबर और खाताधारक का नाम देखते हैं। RBL BANK वाले कुमार मयंक और दलित संघ सोहागपुर के बैंक अकाउंट नंबर को यूनिवर्सिटी के डॉक्यूमेंट में यूनिवर्सिटी का अकाउंट बताया गया है। ऑडिट टीम कभी भी क्रॉस चेक नहीं करती कि डॉक्यूमेंट में जो बैंक अकाउंट नंबर लिखा है, क्या वह सचमुच इस नाम से है जिस नाम से दस्तावेजों में लिखा गया है। हालांकि इसे चेक करने के लिए सिर्फ ₹1 खर्च होता है। यदि आप किसी भी बैंक खाते पर ₹1 का UPI PAYMENT करेंगे तो आपको पता चल जाएगा कि खाताधारक का नाम क्या है।
RBL BANK मैनेजमेंट से भी सवाल किए जाएंगे
यूनियन बैंक ऑफ इंडिया (UBI) के मैनेजर आशीष मैहर ने जांच समिति को बताया कि 309018973### खाता RBL BANK का है। लेकिन, यह खाता संचालित नहीं है। 1.99 करोड़ रुपए का चेक नंबर 33075382 को अकाउंट नंबर 921010023537### में जमा कराया गया। यह खाता कुमार मयंक का था। यूनिवर्सिटी के फायनेंस कंट्रोलर ऋषिकेश वर्मा और तत्कालीन रजिस्ट्रार आरएस राजपूत ने 1.99 करोड़ रुपए का पेमेंट प्राइवेट अकाउंट में कराया। जबकि नोटशीट आरबीएल बैंक के नाम पर बनी थी।
FIR में कितने आरोपी
RGPV के अकाउंट से 19.48 करोड़ रुपए प्राइवेट अकाउंट में ट्रांसफर किए जाने के मामले में यूनिवर्सिटी के प्रभारी कुलपति प्रो. मोहन सेन ने गांधी नगर पुलिस थाना में FIR दर्ज कराई है। इसमें यूनिवर्सिटी के तत्कालीन रजिस्ट्रार आरएस राजपूत, रिटायर फायनेंस कंट्रोलर ऋषिकेष वर्मा, तत्कालीन कुलपति प्रो. सुनील कुमार, RBL बैंक के अधिकारी कुमार मयंक और दलित संघ सोहागपुर पर गड़बड़ी का आरोप लगाया है।
RBL BANK के अधिकारी कुमार मयंक पुलिस रिमांड पर
यूनिवर्सिटी में 19.48 करोड़ रुपए की गड़बड़ी मामले में आरोपी बनाए गए बैंक के कर्मचारी कुमार मयंक को गांधी नगर पुलिस ने अहमदाबाद से गिरफ्तार कर लिया है। कुमार मयंक से पुलिस गड़बड़ी में शामिल दूसरे आरोपियों की भूमिका और सरकारी खाते से निजी खाते में ट्रांसफर हुए 19.48 करोड़ रुपए के उपयोग के बारे में सवाल-जवाब कर रही हैं। गांधी नगर पुलिस ने मयंक को तीन दिन की रिमांड पर लिया हुआ है।
रजिस्ट्रार, कुलपति और रिटायर फायनेंस कंट्रोलर से होगी पूछताछ
RGPV में 19.48 करोड़ रुपए की गड़बड़ी मामले के आरोपी कुमार मयंक से पूछताछ के बाद गांधी नगर पुलिस रिटायर फायनेंस कंट्रोलर ऋषिकेष वर्मा, निलंबित रजिस्ट्रार आरएस राजपूत और तत्कालीन कुलपति प्रो. सुनील कुमार (घोटाला का खुलासा के बाद इस्तीफा देना पड़ा) से पूछताछ करेगी। FIR दर्ज होने के बाद से तीनों ही अफसर भूमिगत हो गए हैं। जानकारों के मुताबिक पुलिस किसी भी समय मामले में शामिल रहे तीनों तत्कालीन अफसरों को गिरफ्तार कर सकती है।
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