BHOPAL NEWS - राजधानी में ट्यूबवेल खनन पर प्रतिबंध, बोरवेल मशीन जप्त करने के आदेश

मध्यप्रदेश की राजधानी भोपाल में कलेक्टर एवं जिला मजिस्ट्रेट भोपाल श्री कौशलेंद्र विक्रम सिंह ने मध्यप्रदेश पेयजल परिरक्षण अधिनियम की धारा-6 (1) के अंतर्गत संपूर्ण जिले में अशासकीय व निजी नलकूप खनन पर 03 अप्रैल 2024 से 30 जून 2024 तक प्रतिबंध लगा दिया है।

भोपाल में बोरिंग मशीन जप्त करने के आदेश

कलेक्टर श्री सिंह ने बताया कि  सम्पूर्ण जिला भोपाल की राजस्व सीमाओं में नलकूप, बोरिंग मशीन संबंधित अनुविभागीय अधिकारी (राजस्व) की अनुमति के बिना न तो प्रवेश करेगी (सार्वजनिक सड़को से गुजरने वाली मशीनों को छोड़कर) और न ही बिना अनुमति के कोई नया नलकूप खनन करेगी। कलेक्टर श्री सिंह ने बताया कि संबंधित राजस्व एव पुलिस अधिकारियों को ऐसी बोरिंग मशीन जो अवैध रूप से जिले में प्रतिबंधित स्थानो पर प्रवेश करेगी अथवा नलकूप खनन, बोरिंग का प्रयास करेगी उक्त मशीनो को जप्त कर संबंधित पुलिस थाना क्षेत्र में एफ.आई.आर. दर्ज कराने का अधिकार होगा। 

भोपाल में बोरिंग करने वाले को 2 साल जेल का प्रावधान

उन्होंने बताया कि सभी अनुविभागीय अधिकारी (राजस्व) को उनके क्षेत्रान्तर्गत इस निमित अपरिहार्य प्रकरणों के लिए व अन्य के प्रयोजनों हेतु उचित जांच के पश्चात अनुज्ञा देने हेतु प्राधिकृत किया जाता है। अधिसूचना का उलझन करने पर अधिनियम की धारा-3 या धारा-4 के उपबंध का उल्लंघन करने पर दो हजार रूपये के जुर्माने तथा दो वर्ष तक के कारावास या दोनों से दण्डित करने का प्रावधान है। शासकीय योजनाओं के अंतर्गत किये जाने वाले नलकूप उत्खनन पर यह आदेश लागू नहीं होगा तथा लोक स्वास्थ्य यांत्रिकी विभाग द्वारा कार्ययोजनांतर्गत नलकूप खनन का कार्य कराया जा सकेगा। इस हेतु उपरोक्तानुसार अनुज्ञा प्राप्त किया जाना आवश्यक नहीं होगा। 

भोपाल में गिरते वाटर लेवल के लिए बिल्डर और बड़े किसान, दोनों जिम्मेदार

भोपाल जिले में कृषि एवं व्यावसायिक कार्य हेतु भू-जल स्रोतों का अतिदोहन होने से पेयजल स्रोतों / नलकूपों का जल स्तर तेजी से गिर रहा है। गिरते भू-जल स्तर के कारण संपूर्ण जिले में आगामी ग्रीष्मकाल में पेयजल संकट की संभावना को दृष्टिगत रखते हुए संपूर्ण भोपाल जिले में मध्यप्रदेश पेयजल परिरक्षण अधिनियम 1986 के तहत पेयजल से भिन्न अन्य प्रयोजन के लिए नवीन निजी नलकूपों के खनन पर प्रतिबंध लगाया जाना आवश्यक है मेरे द्वारा पेयजल संकट की स्थिति का परीक्षण किये जाने पर यह परिलक्षित हुआ है कि यदि जिले में निजी नलकूप खनन पर प्रतिबंध नही लगाया तो ग्रीष्मकाल में जिले में गंभीर पेयजल संकट उत्पन्न होने की संभावना है।  

भोपाल में निजी नलकूपों का अधिग्रहण किया जाएगा

नवीन खनित निजी नलकूप एवं अन्य विद्यमान निजी जल स्रोतों का आवश्यकता होने पर सार्वजनिक पेयजल व्यवस्था हेतु अधिनियम की धारा-4 के अंतर्गत अधिग्रहण किया जा सकेगा। यह आदेश तत्काल प्रशावशील रहेगा। 

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