मध्य प्रदेश में बड़े नेताओं पर प्रशासनिक अंकुश का दौर चल रहा है। आज नवरात्रि के पहले दिन सामान्य प्रशासन विभाग मंत्रालय में भारतीय प्रशासनिक सेवा के अधिकारी श्री अनुराग जैन ने मुख्य सचिव का पदभार ग्रहण किया और उसके बाद मंत्रालय से एक आदेश निकाला जिसमें सीहोर जिले में संयुक्त कलेक्टर की पद स्थापना की गई।
सीहोर में उपचुनाव से पहले ADM की पोस्टिंग
केंद्रीय कृषि मंत्री श्री शिवराज सिंह चौहान, लोकसभा चुनाव लड़ने से पहले सीहोर जिले की बुधनी विधानसभा से विधायक थे। लोकसभा चुनाव जीतने के बाद उन्होंने बुधनी से इस्तीफा दे दिया है। यहां पर उपचुनाव होने हैं। इससे पूर्व राज्य प्रशासनिक सेवा के अधिकारी श्री दिनेश सिंह तोमर को सीहोर जिले का संयुक्त कलेक्टर पदस्थ किया गया है। श्री तोमर, मध्य प्रदेश गृह निर्माण एवं अधोसंरचना विकास मंडल भोपाल, अर्थात एमपी हाउसिंग बोर्ड भोपाल में मुख्य संपदा अधिकारी के पद पर काम कर रहे थे।
दिनेश सिंह तोमर - बुधनी और विवाद दोनों से पुराना रिश्ता
राज्य प्रशासनिक सेवा 2016 बैच के अधिकारी श्री दिनेश सिंह तोमर का बुधनी विधानसभा और विवाद, दोनों से पुराना रिश्ता है। मीडिया रिपोर्ट्स बताती है कि उन्होंने एक लड़के को इसलिए गिरफ्तार करके जेल भिजवा दिया था क्योंकि वह (उनका) श्री दिनेश सिंह तोमर का वीडियो बना रहा था। उसके खिलाफ शासकीय कार्य में बाधा का मामला दर्ज किया गया था। उस समय श्री दिनेश सिंह तोमर, भेरुंदा (पूर्व में नसरुल्लागंज) के एसडीएम थे। X पर अपलोड वीडियो समाचार के अंत में संलग्न है।
अनुराग जैन मध्य प्रदेश के 35वें मुख्य सचिव
राज्य शासन के 35 वें मुख्य सचिव के रूप में 1989 बैच के भारतीय प्रशासनिक सेवा के अधिकारी श्री अनुराग जैन ने आज मंत्रालय में पदभार ग्रहण किया। विनम्र निवेदन 🙏कृपया हमें गूगल न्यूज़ पर फॉलो करें। सबसे तेज अपडेट प्राप्त करने के लिए टेलीग्राम चैनल सब्सक्राइब करें एवं हमारे व्हाट्सएप कम्युनिटी ज्वॉइन करें। इन सबकी डायरेक्ट लिंक नीचे स्क्रॉल करने पर मिल जाएंगी। कर्मचारियों से संबंधित महत्वपूर्ण समाचार पढ़ने के लिए कृपया स्क्रॉल करके सबसे नीचे POPULAR Category में employee पर क्लिक करें।
मुख्यमंन्त्री के विधानसभा में भेरुन्दा (नसरुल्लागंज) के SDM श्री दिनेश सिंह तोमर का आम जनता के साथ व्यवहार आप इस video में देख सकते है।
— Vrajendra Shukla (@vrajendrainc) May 22, 2023
किस तरह मारने दौड़ते हुए अधिकारी गालियों की भाषा बोलकर प्रदेश में सुशासन के उदाहरण की मिसाल दे रहे है।@digvijaya_28 @pcsharmainc @AbhayIndia pic.twitter.com/9cUPVDImi1