भारतीय संसद की लोकसभा में बैंकिंग कानून संशोधन विधेयक 2024 पारित हो गया है। भारत सरकार की वित्त मंत्री श्रीमती निर्मला सीतारमन ने सदन को बताया कि संशोधन में बैंकिंग कानून से जुड़े किन नियमों को बदल दिया गया है और इससे बैंकिंग प्रणाली एवं बैंक के खाताधारकों को क्या फायदा होगा।
The Banking Laws (Amendment) Bill, 2024 - 19 संशोधन प्रस्तावित
- बैंकिंग विनियमन अधिनियम के तहत एक खाताधारक अपने खाते में चार नॉमिनी जोड़ सकेगा।
- सहकारी बैंकों के अध्यक्ष और पूर्णकालिक निदेशकों के अलावा अन्य निदेशकों का कार्यकाल आठ से 10 वर्ष हो जाएगा।
- बैंक अपनी रिपोर्ट रिजर्व बैंक को हर शुक्रवार की जगह हर 15वें दिन के अंतिम दिन सौंपेंगे।
- गैर अधिसूचित बैंकों को शेष नकदी भंडार को व्यवस्थित रखना होगा।
- केंद्रीय सहकारी बैंक के निदेशक को राज्य सहकारी बैंक के बोर्ड में सेवा करने की अनुमति।
- अब तक अगर किसी खाते में सात वर्ष तक कोई लेन-देन नहीं होता था तो उसे निवेशक शिक्षा और सुरक्षा फंड में भेज दिया जाता था। इस संशोधन के बाद खाताधारक निवेशक शिक्षा और सुरक्षा फंड से राशि की वापसी का दावा कर सकता है।
विधेयक में भारतीय रिजर्व बैंक अधिनियम, 1934, बैंकिंग विनियमन अधिनियम, 1949, भारतीय स्टेट बैंक अधिनियम, 1955, बैंकिंग कंपनी (उपक्रमों का अधिग्रहण और हस्तांतरण) अधिनियम, 1970 और बैंकिंग कंपनी (उपक्रमों का अधिग्रहण और हस्तांतरण) अधिनियम, 1980 में संशोधन का प्रस्ताव किया गया है। विनम्र अनुरोध 🙏 कृपया हमें गूगल न्यूज़ पर फॉलो करें। सबसे तेज अपडेट प्राप्त करने के लिए टेलीग्राम चैनल सब्सक्राइब करें एवं हमारे व्हाट्सएप कम्युनिटी ज्वॉइन करें। इन सबकी डायरेक्ट लिंक नीचे स्क्रॉल करने पर मिल जाएंगी। भारत के महत्वपूर्ण समाचार पढ़ने के लिए कृपया स्क्रॉल करके सबसे नीचे POPULAR Category में National पर क्लिक करें।