बेहतर काम और प्रबंधन के बावजूद हुआ निधि सिंह का तबादला - BHOPAL NEWS

भोपाल। नगर निगम की अपर आयुक्त निधि सिंह का तबादला किए जाने को लेकर अब प्रशासनिक गलियारों में चर्चा का दौर शुरू हो गया है। 

नगर निगम की कमाई बढ़ाई, फिर भी कार्यकाल पूरा नहीं कर पाई

2019 बैच की युवा आईएएस निधि सिंह ने भोपाल नगर निगम में रहते हुए बेहतर काम और कुशल प्रबंधन से निगम की छवि को सुधारने का काम किया। साथ ही नगर निगम का राजस्व बढ़ाने के लिए लिए कई विशेष अभियान चलाए जिसकी वजह से नगर निगम के राजस्व में भी बढोतरी हुई। इसके लिए राजस्व एवं जलकर वसूली में भी पिछले साल की तुलना में अधिक बढ़ोतरी हुई थी। यांत्रिकी विभाग का दायित्व होने के कारण निगम में होने वाले अनावश्यक खर्चो पर भी लगाम लगाई गई थी। इसके बावजूद निधि सिंह को भोपाल नगर निगम से हटाकर राजस्व मंडल ग्वालियर भेज दिया। हलांकि उन्हें नगर निगम में डेढ़ साल हो गए थे। 

सिटी बस की टेंडर प्रक्रिया फेल हो गई थी

सूत्रों के मुताबिक निधि सिंह ने सिटी बस के लिए टेंडर निकाले थे, लेकिन एक भी पार्टी ने टेंडर प्रक्रिया में भाग नहीं लिया। जबकि टेंडर की शर्तों में भी परिवर्तन किया गया था। पहले टेंडर में 2 करोड़ रूपए की शर्त रखी गई थी। बाद में इस राशि को घटाकर 1 करोड़ रूपए कर दिया गया था। 5 बार टेंडर कॉल करने के बाद भी किसी पार्टी ने इच्छा जाहिर नहीं की। निधि सिंह को हटाए जाने के पीछे इसे मुद्दे को भी मुख्य कारण माना जा रहा है। 

इसके अलावा नगर निगम जनसंपर्क कार्यालय द्वारा जारी किए जाने वाले विज्ञापन में नगर निगम के जनसंपर्क अधिकारी प्रेम शंकर शुक्ला की मनमर्जी पर भी निधि सिंह ने रोक लगा दी थी। इतना ही नहीं विज्ञापन की फाईल भी निधि सिंह स्वयं देख रही थी। जिसको लेकर भी मीडिया में लगातार खबरे प्रकाशित हो रही थी। उनका प्रयास था कि रोस्टर के हिसाब से सभी मीडिया संस्थानों को सामान रूप से विज्ञापन मिलते रहें। यह व्यवस्था भी निधि सिंह द्वारा शुरू की गई थी। इसके बावजूद भोपाल से उनका तबादला कर देना समझ से परे हैं।
Tags

#buttons=(Ok, Go it!) #days=(20)

Our website uses cookies to enhance your experience. Check Now
Ok, Go it!